blank 3 22

अभी तक धार्मिक ग्रंथों में ही पढ़ा था कि जब किसी के पास कोई सहारा नहीं होता है तब ईश्वर किसी न किसी को सहारा बनाकर भेज देता है। मुरैना में ग्रंथों में लिखी बात चरितार्थ होती देखी गई। जहां अपनों से ठुकराई हुई वृद्ध मां को समाजसेवी माधुरी शर्मा ने पांच दिन की मशक्कत के बाद वृद्धाश्रम में आश्रय दिलवा दिया है। सरकारी औपचारिकताओं को लेकर तीन दिन विभाग के चक्कर लगाने पड़े तब कहीं अनुमति मिल सकी।

28 मई को समाजसेवी माधवी शर्मा कमिश्नर कॉलोनी पार्क के पास से गुजर रही थीं तभी वहां उनको एक वृद्ध मां बैठी मिली। जब माधवी शर्मा ने वृद्ध मां से इस तरह अकेले होने का कारण पूछा तो मां की आंखों से आंसू निकल पड़े और उसने बताया कि मेरी लड़की मकान बेचकर पैसा ले गई और मुझे अपने हाल पर छोड़ गई। वृद्धा के कोई लड़का नहीं है।

पिछले कई दिनों से इधर-उधर भटक रही थी, लेकिन समाजसेवी माधवी शर्मा ने जब उसकी पीड़ा सुनी तो उससे रहा नहीं गया और वन स्टॉप सेंटर से पत्र लिखवा कर वृद्ध मां को लेकर 28 मई को वृद्धाश्रम पहुंची, लेकिन वहां यह कहकर लेने से इंकार कर दिया कि सामाजिक न्याय विभाग से अनुमति होगी तभी रख पाएंगे। चूंकि शनिवार-रविवार की विभाग की छुट्टी थी तब तक वृद्ध मां को वन स्टॉप सेंटर में रखा गया। यहां की प्रभारी सरिता मेम ने पूरी तरह मानवता दिखाते हुए मां को सेंटर पर रखा।

माधवी शर्मा सोमवार से सामाजिक न्याय विभाग के चक्कर लगा रही थीं तब कहीं बड़ी मशक्कत के बाद बुधवार को विभाग से अनुमति मिली और वृद्ध मां को आश्रम पहुंचाया। अब मां काफी प्रसन्न है और उन्होंने समाजसेवी युवती को आशीर्वाद दिया।

Raushan Kumar is known for his fearless and bold journalism. Along with this, Raushan Kumar is also the Editor in Chief of apanabihar.com. Who has been contributing in the field of journalism for almost 4 years.