सोशल मीडिया पर इन दिनों एक अजीबों – गरीबों मामला वायरल हो रहा है. बता दे की बिहार के बगहा के वाड़ीपट्टी में एक अद्भुत घटना हुई. बीते 20 मई को गिरे जिस पीपल के पेड़ को व्यापारी कई टुकड़ों में काटकर घर ले जा चुका था. उसका बचा हुआ आधा हिस्सा जड़ के साथ फिर खड़ा हो गया. यह बात पूरे इलाके में जंगल की आग की तरह फैल गई. लोग इसे दैवीय शक्ति मानकर पूजा-पाठ के लिए वहां पहुंच रहे हैं.
आपको बता दे की राजकीय प्राथमिक विद्यालय तिवारी टोला वाड़ीपट्टी में पीपल का एक बड़ा पेड़ था. 20 मई को आई तेज आंधी के दौरान पीपल का पेड़ गिर गया. स्कूल की कमेटी ने पेड़ का एक व्यक्ति के हाथ सौदा कर दिया. खरीदार ने पेड़ की शाखाएं काट कर ले गये. विद्यालय के प्रधान शिक्षिका सीतालक्ष्मी, सहायक शिक्षक मोहम्मद जावेद, स्थानीय मोहल्ले वासी मनकेश्वर दीक्षित, राजू यादव, रामनाथ यादव, आजाद राम, प्रेम चंद्र तिवारी, संजय यदुवंशी, हिमाचल दीक्षित आदि ने बताया कि सुबह में एक तेज आवाज के साथ पेड़ का बचा हिस्सा पहले के जैसे खड़ा हो गया.
आस्था या अंधविश्वास?
बताते चले की वाल्मीकि टाइगर रिजर्व के बगहा रेंज के रेंजर मनोज कुमार जो हरियाली मिशन का काम देखते हैं, उन्होंने बताया कि वैज्ञानिक तौर पर ऐसी घटनाओं के प्रमाण नहीं हैं. यह हो सकता है कि पेड़ की शाखा काटा गया हो लेकिन उसकी जड़ें जमीन के काफी नीचे रह जाने के कारण पेड़ दोबारा खड़ा हो गया हो. फिर भी इस तरह की घटना समझ से परे है.