देश का मान-सम्मान बढ़ाने वाले इंडियन आर्मी के जवान की हम जितनी तारीफ़ करें कम है। हम सभी की सुरक्षा के लिए यह बिना सोए रात में ड्यूटी करते हैं, ताकि हम चैन की नींद सो सकें। इन्हीं सेना के जवानों में से एक हैं, विजय बहादुर सिंह। जिनकी स्वागत में उनके गांव वालों ने अपनी हथेलियां बिछा दी।

फौजी विजय बहादुर सिंह

विजय बहादुर सिंह (Vijay Bahadur Singh) Madhya Pradesh के नीमच (Nimach) ज़िले से ताल्लुक रखते हैं।

जब वह अपने कर्तव्य को निभाकर 17 साल बाद रिटार्यड होकर अपने गांव लौटें, तब उनके गांव वालों ने उनका भव्य स्वागत किया।

अनोखे स्वागत से हमारे फौजी भावुक होते हुए बोले, मुझे गर्व है अपनी जन्मभूमि पर कि मेरा यहां जन्म हुआ।

60 व्यक्ति करते हैं फौजी की ड्यूटी

हमारे फौजी विजय जी के गांव जीरन में लगभग 60 व्यक्ति फौजी हैं और वह अपने कर्तव्यों का पालन बॉर्डर पर कर रहे हैं। विजय बहादुर ने भी 17 वर्षों तक अपने कर्तव्यों का पालन किया और रिटार्यड होने के बाद अपने गांव लौटें।

उन्हें उनके गांव वासियों ने गांव के गणेश जी के प्राचीन मंदिर तक हथेलियों पर चलकर ले गये।

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