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राजधानी दिल्ली की सीमा पर किसानों के आंदोलन करते दो महीने से ज्यादा हो गये हैं. इस बीच गणतंत्र दिवस के दिन राजधानी में हिंसा हुई जिसके बाद से मामले ने तूल पकड़ लिया है|

किसानों के समर्थन में विदेशी हस्तियां भी आ रहीं हैं. किसानों के प्रदर्शन का समर्थन करने पर भारत ने पॉप गायिका रिहाना और जलवायु कार्यकर्ता ग्रेटा थनबर्ग जैसी वैश्विक सेलिब्रिटी को आड़े हाथ लिया है|

इधर, इस विषय पर छिड़ी ध्रुवीकृत अंतरराष्ट्रीय बहस में सरकार के रुख का बॉलीवुड हस्तियों, क्रिकेट खिलाड़ियों और शीर्ष मंत्रियों ने समर्थन करने का काम किया है|

केंद्र के नये कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग करते हुए किसानों के दो महीने से जारी प्रदर्शनों का अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कुछ मशहूर हस्तियों द्वारा समर्थन किये जाने के बाद विदेश मंत्रालय ने तीखी प्रतिक्रिया दी है|

क्या कहा विदेश मंत्रालय ने : मंत्रालय ने कहा कि प्रदर्शन के बारे में जल्दबाजी में टिप्पणी करने से पहले तथ्यों की जांच-परख की जानी चाहिए. सोशल मीडिया पर हैशटैग तथा सनसनीखेज टिप्पणियों से जिम्मेदार लोगों को बचने की जरूरत है|

आगे मंत्रालय ने कहा कि हम अनुरोध करेंगे कि ऐसे मामलों में जल्दबाजी में टिप्पणी करने से पहले तथ्यों की पड़ताल की जाए और मुद्दों पर यथोचित समझ विकसित की जाए|

अमित शाह ने क्या कहा :

वहीं दूसरी ओर मामले पर आई विदेश मंत्रालय की कड़ी प्रतिक्रिया का विभिन्न भारतीय हस्तियों ने समर्थन किया है. केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि कोई भी दुष्प्रचार देश की एकता को डिगा नहीं सकता. शाह ने अपने ट्वीट में कहा कि कोई भी दुष्प्रचार भारत की एकता को डिगा नहीं सकता है! कोई भी दुष्प्रचार भारत को नयी ऊंचाइयां छूने से रोक नहीं सकता है! दुष्प्रचार भारत के भाग्य का फैसला नहीं कर सकता, सिर्फ ‘प्रगति’ ही यह कार्य कर सकती है|

बॉलीवुड की प्रतिक्रिया :

बॉलीवुड हस्तियों में अक्षय कुमार, कंगना रनौत, अजय देवगन और करण जौहर ने लोगों से झूठे प्रचार से बचने का आग्रह किया है. अजय देवगन ने ट्वीट कर लोगों से आग्रह किया कि वे ‘भारत या भारतीय नीतियों के खिलाफ झूठे प्रचार’ से सावधान रहें|

करण जौहर ने लिखा कि किसी को भी देश विभाजित नहीं करने देना चाहिए. सुनील शेट्टी ने ट्विटर पर विदेश मंत्रालय के बयान को साझा करते हुए कहा कि ‘आधे अधूरे सच से ज्यादा खतरनाक’ कुछ नहीं है|

गायक कैलाश खेर ने किसी का नाम लिए बिना कहा कि देश को बदनाम करने के लिए भारत विरोधी किसी भी स्तर तक गिर सकते हैं|

क्रिकेट जगत की प्रतिक्रिया :

इसके अलावा पूर्व क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर और अनिल कुंबले ने भी आंदोलन को लेकर विदेशी हस्तियों की टिप्पणियों पर प्रतिक्रिया व्यक्त की है. तेंदुलकर ने ट्वीट किया कि भारत की संप्रभुता से समझौता नहीं किया जा सकता|

विदेशी शक्तियां दर्शक तो बन सकती हैं लेकिन प्रतिभागी नहीं. भारतीय, भारत को जानते हैं और भारत के लिये फैसला लेना चाहिये|

एक देश के तौर पर एकजुट रहें. कुंबले ने ट्वीट किया कि दुनिया का सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश होने के नाते भारत अपने आंतरिक मुद्दों का सर्वमान्य समाधान निकालने में सक्षम है|

पहले भी और अब भी. कोहली ने ट्वीट किया कि असहमति के इस दौर में हम सभी एकजुट रहें|

किसान हमारे देश का एक अभिन्न हिस्सा हैं और मुझे यकीन है कि सभी पक्षों के बीच एक सौहार्दपूर्ण समाधान मिल जायेगा ताकि शांति हो और सभी मिलकर आगे बढ़ सकें. अपने इस ट्वीट के साथ उन्होंने #IndiaTogether का इस्तेमाल किया है|

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