blank 5 14

देश के सबसे अहम मंत्रालयों में से एक रेल मंत्रालय की जिम्मेदारी एक पूर्व IAS अधिकारी को दी गई है। अश्विनी वैष्णव को रेल के अलावा आईटी और संचार मंत्रालय का कार्यभार भी सौंपा गया है। पूर्व नौकरशाह अश्विनी वैष्णव ने बुधवार को मंत्री पद की शपथ ली थी। हम आपको बताते हैं कि आखिरकार कौन हैं देश के नये रेल मंत्री और उन्हें कई अहम मंत्रालयों की यह जिम्मेदारी क्यों दी गई? 

Also read: बिहार के इन शहरों से दिल्ली, पुणे, मुंबई, और वडोदरा के लिए चलेगी स्पेशल ट्रेन, जाने टाइमिंग

राजस्थान के जोधपुर में पैदा हुए 51 वर्षीय वैष्णव ओडिशा कैडर के भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के अधिकारी रहे हैं। भाजपा में होने के बावजूद उन्होंने राज्यसभा चुनाव में ओडिशा के मुख्यमंत्री और बीजू जनता दल के प्रमुख नवीन पटनायक का समर्थन हासिल कर लिया। बीजद के भीतर कई नेताओं ने इसकी आलोचना की थी। आरोप लगाए गए कि पटनायक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह के दबाव में झुक गए और वैष्णव का समर्थन कर दिया। 

Also read: मुजफ्फरपुर, सहरसा, दानापुर, पटना, दरभंगा जैसे जगहों से चलेगी वंदे भारत ट्रेन, जाने रुट के साथ किराया

वैष्णव 28 जून, 2019 को हुए राज्यसभा चुनाव से सिर्फ छह दिन पहले ही भाजपा में शामिल हुए थे। प्रशासनिक सेवा में रहते हुए उन्होंने बालेश्वर और कटक जिलों के कलेक्टर की जिम्मेदारी निभाई।

Also read: पटना से आरा, बक्सर के रास्ते सूरत के लिए ट्रेन, जाने टाइमिंग व किराया

वैष्णव ने साल 2003 तक ओडिशा में काम किया और फिर तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के कार्यालय में उप सचिव नियुक्त हो गए। वाजपेयी जब प्रधानमंत्री पद से हटे तो वैष्णव को उनका सचिव बनाया गया। आईआईटी से पढ़ाई कर चुके वैष्णव ने 2008 में सरकारी नौकरी छोड़ दी और अमेरिका के व्हार्टन विश्वविद्यालय से एमबीए किया। वापस लौटने के बाद उन्होंने कुछ बड़ी कंपनियों में नौकरी की और फिर गुजरात में ऑटो उपकरण की विनिर्माण इकाइयां स्थापित कीं। इसी साल अप्रैल में उन्हें भारतीय प्रेस परिषद का सदस्य नामित किया गया था।

Also read: बिहारवासियों के लिए खुशखबरी, मुजफ्फरपुर से हावड़ा के लिए दो अमृत भारत ट्रेन

Raushan Kumar is known for his fearless and bold journalism. Along with this, Raushan Kumar is also the Editor in Chief of apanabihar.com. Who has been contributing in the field of journalism for almost 4 years.