बच्चों ने भी अपनी विधवा माँ मीरा देवी की कुर्बानी को ज़ाया नहीं होने दिया। उनकी बेटियों ने ख़ूब मेहनत करके पढ़ाई की और प्रशासनिक सेवाओं के लिए सेलेक्ट हुईं।
इनकी 3 बेटियाँ राजस्थान में प्रशासनिक सेवा में कार्यरत हैं। जिनके नाम कमला चौधरी , गीता चौधरी और ममता चौधरी हैं।
जब इनके पति गुजर गए तो उन्होंने अकेले ही सारे परिवार को संभाला और बच्चों का पालन पोषण किया।
पति के गुजर जाने के बाद मीरा देवी को बहुत संघर्षों का सामना करना पड़ा था।
उन्हें बच्चों की पढ़ाई और घर का ख़र्च चलाने में बहुत दिक्कत होती थी। जब उनकी बेटियाँ थोड़ी बड़ी हुई तो रिश्तेदारों और गाँव के लोगों ने मीरा देवी पर दबाव डाला
कि वे अपनी बेटियों की अब शादी कर दें, पर मीरा देवी ने उन सब की बातों पर ध्यान ना देते हुए सिर्फ़ अपनी बेटियों के भविष्य के बारे में सोचा और उनकी पढ़ाई जारी रखी।
UPSC परीक्षा में असफल होने के बाद भी उन्होंने हार नहीं मानी और फिर एक साथ राजस्थान प्रशासनिक सेवा का एग्जाम दिया।
इस परीक्षा में तीनों बहनों ने सफलता हासिल की। इनमें से सबसे बड़ी बहन कमला चौधरी को OBC रैंक में 32वां स्थान प्राप्त हुआ
व गीता को 64वां स्थान मिला, तीसरी बहन ममता को 128वां स्थान प्राप्त हुआ। इस प्रकार से तीनों बेटियों ने अपनी माँ और अपने सारे परिवार का सर गर्व से ऊंचा कर दिया।