apanabihar.com2 19

क्या आपको आपका राशन डीलर कम अनाज देता है. यदि इसका जवाब हां है तो आगे की खबर आपके काम की है. जी हां… सरकार की ओर से अब राशन कार्ड संबंधी शिकायतों के लिए राज्यवार टोल-फ्री हेल्पलाइन नंबर शुरू किये हैं. आपको बता दे की जिन लोगों को उनके आरक्षित कोटे से कम राशन डीलर के द्वारा दिया जा रहा है तो आप इसपर शिकायत कर सकते हैं.

  • इन नंबर्स पर कर सकते हैं शिकायत:-
  • झारखंड-1800-345-6598
  • जम्मू- 1800-180-7106
  • कर्नाटक- 1800-425-9339
  • तेलंगाना- 1800-4250-0333
  • केरल- 1800-425-1550
  • तमिलनाडु- 1800-425-5901
  • अंडमान-निकोबार- 1800-343-3197
  • पुडुचेरी – 1800-425-1082
  • कश्मीर- 1800–180–7011
  • बिहार-1800-3456-194
  • गोवा- 1800-233-0022
  • छ्त्तीसगढ़- 1800-233-3663
  • लक्षद्वीप- 1800-425-3186
  • गुजरात- 1800-233-5500
  • ओड़िशा- 1800-345-6724 / 6760
  • असम- 1800-345-3611
  • पंजाब- 1800-3006-1313
  • चण्डीगढ़- 1800–180–2068
  • दादर नगर हवेली – 1800-233-4004
  • अरुणाचल प्रदेश- 03602244290
  • मणिपुर- 1800-345-3821
  • हरियाणा- 1800–180–2087
  • मेघालय- 1800-345-3670
  • मिजोरम- 1860-222-222-789
  • नागालैंड- 1800-345-3704, 1800-345-3705
  • हिमाचल प्रदेश- 1800–180–8026
  • दिल्ली- 1800-110-841
  • उत्तर प्रदेश- 1800-180-0150
  • उत्तराखंड- 1800-180-2000, 1800-180-4188
  • पश्चिम बंगाल- 1800-345-5505
  • मध्यप्रदेश- 181
  • राजस्थान- 1800-180-6127
  • सिक्किम- 1800-345-3236
  • त्रिपुरा- 1800-345-3665
  • महाराष्ट्र- 18-22-4950
  • आंध्रप्रदेश- 1800-425-2977

गरीबों को दिया जाता है अनाज : जानकारी के अनुसार गरीब और जरूरतमंदों की मदद करने के लिए केंद्र सरकार से लेकर राज्य सरकारें तक कई तरह की योजनाएं चलाने का काम करतीं हैं. इसी में से एक राशन कार्ड व्यवस्था है जिसके माध्यम से आर्थिक रूप से कमजोर लोगों के लिए सरकार अनाज उपलब्ध करवाती है. बता दे की सरकारी राशन सरकार द्वारा निर्धारित कुछ दुकानों पर ही मिलता है. लेकिन कई बार लोगों के सामने कम राशन मिलने जैसी दिक्कतें हैं. यदि आपका राशन डीलर भी राशन वितरण में गड़बड़ी कर रहा है और आपको कम राशन दे रहा है, तो आप चाहें तो इसकी शिकायत दर्ज कराएं.

Raushan Kumar is known for his fearless and bold journalism. Along with this, Raushan Kumar is also the Editor in Chief of apanabihar.com. Who has been contributing in the field of journalism for almost 5 years.