मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने कहा कि गंगा नदी के जलस्तर में कुछ और वृद्धि होने पर खतरा बढ़ सकता है। पटना, नालंदा, गया और जहानाबाद जिले के बाढ़ प्रभावित इलाकों के हवाई सर्वेक्षण के बाद लौटने के क्रम में संवाददाताओं से बातचीत के क्रम में उन्होंने यह बात कही। उन्होंने कहा कि बाढ़ नियंत्रण के लिए जल संसाधन विभाग नेे काम आरंभ किया है। सर्वेक्षण के दौरान जल संसाधन मंत्री संजय झा भी उनके साथ थे। नीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने कहा कि सर्वेक्षण के क्रम में हमने यह देखा कि कई जगहों पर काफी पानी है। जो क्षेत्र प्रभावित हुए हैैं, वहां के लोगों को राहत दिलाना और सहायता पहुंचाना हमारी जिम्मेदारी है।
फसलों को भी नुकसान हुआ है। पानी अधिक रहने से रोपनी के काम में दिक्कत आ रही है। जिस तरह से बारिश हो रही है, सभी को सचेत रहना है। पटना को भी अलर्ट रहने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि मानसून के आरंभ में ही बाढ़ को लेकर सभी प्रकार की तैयारियों की समीक्षा की जाती है। जहां भी बाढ़ की स्थिति बनती है वहां तुरंत राहत पहुंचाने के लिए काम किया जाता है। हम तो आरंभ से यह कहते रहे हैैं कि राज्य के खजाने पर पहला अधिकार आपदा पीडि़तों का है। वर्ष 2007 से ही इस पर काम कर रहे हैैं। छोटी नदियों को आपस में जोड़े जाने से संबंधित एक प्रश्न पर मुख्यमंत्री ने कहा कि छोटी-छोटी नदियों को जोड़ने का काफी लाभ होगा। पानी का संग्रहण हो सकेगा। जहां पानी का संकट होगा वहां इससे काफी सहायता मिलेगी।
